कोकीन बरामद होने के बाद गिरफ्तार अफ्रीकी महिला का पासपोर्ट व विद्यार्थी वीजा फर्जी होने का संदेह
मध्यप्रदेश पुलिस के नारकोटिक्स दस्ते ने इंदौर में तीन दिन पहले गिरफ्तार की गई एक अफ्रीकी महिला का पासपोर्ट और विद्यार्थी वीजा फर्जी होने के संदेह में जांच शुरू कर दी है। पुलिस के एक अधिकारी ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।
इंदौर, भाषा। मध्यप्रदेश पुलिस के नारकोटिक्स दस्ते ने इंदौर में तीन दिन पहले गिरफ्तार की गई एक अफ्रीकी महिला का पासपोर्ट और विद्यार्थी वीजा फर्जी होने के संदेह में जांच शुरू कर दी है। पुलिस के एक अधिकारी ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। अधिकारी ने बताया कि मुखबिर की सूचना पर शहर के रेसीडेंसी क्षेत्र में 18 नवंबर को अफ्रीकी महिला को गिरफ्तार किया गया था और उसके पास मिले पासपोर्ट के अनुसार उसकी पहचान लिंडा (25) के रूप में हुई थी। उन्होंने बताया कि अफ्रीकी महिला मुंबई से बस के जरिये इंदौर आई थी और उसके कब्जे से लगभग 31 ग्राम कोकीन बरामद किया गया था।
अधिकारी के मुताबिक इस महिला के पास पश्चिमी अफ्रीका के देश कोत दिव्वार (पुराना नाम आईवरी कोस्ट) का पासपोर्ट मिला था और आरोपी ने पुलिस की पूछताछ में दावा किया था कि वह विद्यार्थी वीजा पर इस साल ही भारत आई है और महाराष्ट्र के नालासोपारा में रह रही है। नारकोटिक्स दस्ते के पुलिस उप महानिरीक्षक महेशचंद जैन ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया,‘‘मामले की जांच में मिले कुछ सुरागों के आधार पर हमें संदेह है कि अफ्रीकी महिला का पासपोर्ट और विद्यार्थी वीजा फर्जी हैं।’’
उन्होंने बताया कि संबंधित विदेशी पंजीकरण कार्यालय (एफआरओ) के जरिये अफ्रीकी महिला के पासपोर्ट और विद्यार्थी वीजा की तसदीक कराई जा रही है और इसमें कोई गड़बड़ी पाए जाने पर उचित कानूनी कदम उठाए जाएंगे। जैन ने बताया कि अफ्रीका महिला के खिलाफ स्वापक औषधि और मन: प्रभावी पदार्थ (एनडीपीएस) अधिनियम के तहत दर्ज प्राथमिकी की जांच अलग से जारी है। उन्होंने बताया कि आरोपी फिलहाल न्यायिक हिरासत के तहत एक स्थानीय जेल में बंद है।
एक अन्य अधिकारी ने बताया कि अफ्रीकी महिला ने पुलिस को पूछताछ में कोई खास सहयोग नहीं किया था। उन्होंने बताया, ‘‘इस महिला ने पूछताछ के दौरान हमें अपनी जो जन्मतिथि बताई थी, वह उसके पास मिले पासपोर्ट पर दर्ज जन्मतिथि से अलग है।’’प्रावधानों के तहत भारत में अध्ययनरत विदेशी विद्यार्थियों को विदेशी पंजीकरण कार्यालय (एफआरओ) या विदेशी क्षेत्रीय पंजीकरण कार्यालय (एफआरआरओ) में खुद को पंजीकृत कराना पड़ता है।

